राजस्थान के कोटा में फंसे देश के कोने-कोने से आए छात्र-छात्राएं लगातार अपने राज्यों में वापसी की गुहार लगा रहे हैं. इस सिलसिले में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यानाथ ने सबसे पहले पहल की है |
यूपी सरकार ने कोटा में फंसे 7500 छात्रों को लाने के लिए लगभग 250 बसें भेजी है. इनमें से 100 बसें लगभग 3000 छात्रों को लेकर शुक्रवार रात को रवाना हो गई हैं. आज 11 बजे लगभग 152 बसें बाकी छात्रों को लेकर रवाना हो रही हैं.
राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत ने कहा है कि अन्य राज्य सरकारों को भी यहां फंसे छात्रों को वापस ले जाने की पहल करनी चाहिए. अशोक गहलोत ने कहा कि कोटा में लॉकडाउन की वजह से फंसे छात्र दहशत में न आएं और न ही अवसाद की स्थिति से ग्रस्त हों, इसके लिए जरूरी है कि इन छात्रों को संबंधित राज्य सरकारें वापस बुलाएं.
योगी से जुदा नीतीश की राय
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ की तरह लॉकडाउन के दौरान छात्रों को वापस बुलाने के पक्ष में नहीं हैं. नीतीश कुमार ने कहा कि कोटा में पढ़ने वाले छात्र संपन्न परिवार से आते हैं. अधिकतर अभिभावक अपने बच्चों को साथ रहते हैं, फिर उन्हें क्या दिक्कत है|
जो गरीब अपने परिवार से दूर बिहार के बाहर हैं फिर तो उन्हें भी बुलाना चाहिए. लॉकडाउन के बीच मे किसी को बुलाना गलत है. इसी तरह मार्च के अंत में भी मजदूरों को दिल्ली से रवाना कर लॉकडाउन को तोड़ा गया था.
छात्रों ने चलाया था अभियान
नरेंद्र मोदी ने देश में लॉकडाउन लागू किया था, उस वक्त कोटा में देश भर से मौजूद हजारों छात्र फंस गए थे. इन छात्रों ने सोशल मीडिया पर#SendUsBackHome अभियान चलाया था. इसके बाद कोटा के जिलाधिकारी ओम कसेरा ने एडीएम नरेंद्र गुप्ता और एएसपी राजेश मिल को छात्रों को अपने राज्यों में भेजने की जिम्मेदारी दी थी.
एक बस में 30 छात्र
बताया जाता है कि छात्रों को ले जाने के दौरान सोशल डिस्टेंसिंग का पूरा ख्याल रखा जाएगा और एक बस में मात्र 30 छात्रों को भी बैठाया जाएगा. कोटा जिले के एक अधिकारी ने कहा कि जिला प्रशासन ने भी 100 बसों का इंतजाम किया है, ताकि अगर यूपी सरकार की बसें कम पड़े तो इनका इस्तेमाल किया जा सके।
रिपोर्टर बी पी पाण्डेय कैमरामैन मीना सिंह