जाने क्या है पूजा का शुभ मुहूर्त और जानिए महत्व

ज्योतिष

हिंदू पंचांग के आधार पर Krishna Janmashtami या भगवान Sri Krishna की जयंती भद्रपद माह के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि (आठवें दिन) को मनाई जाती है। भगवान Sri Krishna को भगवान विष्णु का एक अवतार माना जाता है। अष्ठमी की रात 12 बजे भगवान का Sri Krishna  का संकेतिक रूप से जन्म होने पर व्रत का परायण किया जाता है। बहुत से लोग Mathura जाकर भगवान Sri Krishna की जन्मभूमि का दर्शन करते हैं। यह हिन्दुओं के प्रमुख त्योहारों में से एक है। इस  दिन सृष्टि के पालनहार श्री हरि विष्‍णु ने Sri Krishna के रूप में आठवां अवतार लिया था। कहा जाता है कि Krishna Janmashtami व्रत के समय किए गए अनुष्ठान एकादशी व्रत के दौरान किए गए अनुष्ठानों के समान हैं।

ये है मुहूर्त

अष्टमी तिथि- 24 August की रात्रि 12:01 से 12:46 तक

जन्‍माष्‍टमी के दिन सुबह स्‍नान करने के बाद भक्‍त व्रत का संकल्‍प लेते हुए अगले दिन रोहिणी नक्षत्र और अष्‍टमी तिथि के खत्‍म होने के बाद पारण यानी कि व्रत खोल सकते हैं। Krishna की पूजा आधी रात को की जाती है।

 

 

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