अमेरिका के साथ तरजीही व्यापार के दर्जे को बचाने की आखिरी कोशिश भी नाकाम हो गई। जीएसपी दर्जे पर प्रतिबंध लागू होने के अंतिम दिन 25 अमेरिकी सांसदों ने व्यापार प्रतिनिधि को पत्र लिखकर फैसला टालने की अपील की। इस पर कोई प्रतिक्रिया नही मिलने के बाद शुक्रवार 3 मई से भारत का तरजीही दर्जा खत्म हो गया।
डेमोक्रेटिक पार्टी के 21 सांसदों के साथ राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की रिपब्लिकन पार्टी के चार सांसदों ने अमेरिकी व्यापार प्रतिनिधि रॉबट लाइटहाइजर को पत्र लिखकर भारत जनरलाइज्ड सिर्टम ऑफ प्रेफ्रेंस का दर्जा खत्म नहीं करने का दबाव बनाया। उन्होंने कहा कि अमेरिका ऐसे सौदों पर बातचीत जारी रखे जो भारत के साथ आयात-निर्यात बढ़ाने और नौकरियां पैदा करने में मददगार है।
भारत में होने वाले चुनावों को देखते हुए इस फैसले को अभी टाल दिया जाना चाहिए। ताकि, नई सरकार बनने के बाद सीमा शुल्क के मुद्दे पर मोलभाव किया जा सके। वर्तमान परिस्थितियों में यह फैसला अमेरिका के हित में नहीं होगा। इससे अमेरिका में भारतीय उत्पाद महंगे होंगे और ग्राहकों पर असर पड़ेगा।
तरजीही दर्जे को दोबारा बहाल किए जाने की उम्मीद में भारत ने अमेरिकी उत्पादों पर टैरिफ लागू करने का फैसला फिलहाल टाल दिया है वित्त मंत्रालय ने शुक्रवार को बताया कि बादाम, अखरोट और दाल सहित 29 अमेरिकी उत्पादों पर टैरिफ लागू करने का फैसला 16 मईतक टाल दिया गया है। पहले इसमें और अल्युमीनियम पर अमेरिका के एङारी शुल्क के विरोध में भारत ने यह टैरिफ लगाने का फैसला किया था।