Oxford और AstraZeneca कोविड वैक्सीन को मिली मंजूरी, पढ़े खास खबर

अंतराष्ट्रीय

ब्रिटेन ने बुधवार को Oxford University के वैज्ञानिकों द्वारा विकसित और दवा कंपनी AstraZeneca द्वारा उत्पादित की गई कोविड वैक्सीन को मंजूरी दे दी।

इसके साथ ही ब्रिटेन Oxford University और AstraZeneca की कोविड वैक्‍सीन को मंजूरी देने वाला दुनिया का पहला देश बन गया है।

उम्मीद की जा रही है कि यह वैक्‍सीन तेजी से फैल रही कोरोना वायरस की नई स्‍ट्रेन पर भी कारगर होगी और कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों पर लगाम लगा पाने में मददगार होगी।

इससे पहले ब्रिटेन ने America की फाइजर और जर्मनी की बायोएनटेक द्वारा संयुक्त रूप से विकसित वैक्सीन के आपातकालीन इस्तेमाल की इजाजत दी थी। देश में अब तक सात लाख से अधिक लोगों को फाइजर वैक्सीन की पहली डोज दी जा चुकी है।

औषधि एवं स्वास्थ्य देखभाल उत्पाद नियामक एजेंसी  की मंजूरी मिलने का अभिप्राय है कि टीका सुरक्षित और प्रभावी है। प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन AstraZeneca को 10 करोड़ वैक्सीन का आर्डर पहले ही दे चुके हैं। इनमें से चार करोड़ खुराक मार्च के अंत तक मिलने की उम्मीद है।

एस्ट्राजेनेका के प्रमुख पास्कल सोरियट ने जोर देकर कहा है कि अनुसंधानकर्ताओं ने अंतिम नतीजों को प्रकाशित करने से पहले टीके की दो खुराक का इस्तेमाल कर कारगर फार्मूला हासिल किया है।

उन्होंने उम्मीद जताई कि वायरस पूर्व के अनुमानों से अधिक प्रभावी होगा और यह कोरोना वायरस के नए प्रकार पर भी प्रभावी होना चाहिए जिसकी वजह से ब्रिटेन के अधिकतर हिस्सों में भय की स्थिति है।

इस टीके का निर्माण करने के लिए ऑक्सफोर्ड ने भारत स्थित सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया के साथ करार किया है।

स्वास्थ्य मंत्री मैट हैनकॉक ने बताया कि NHS वैक्‍सीन की शॉट्स को तेजी से लोगों तक पहुंचाएगी। उन्‍होंने कहा कि विश्वास है कि हम वसंत तक पर्याप्त लोगों का टीकाकरण कर सकते हैं।

ब्रिटेन में अगले हफ्ते तक इस वैक्‍सीन की हजारों खुराक उपलब्ध होगी। वहीं प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने इस अनुमोदन को ब्रिटिश विज्ञान की एक अभूतपूर्ण उपलब्धि बताया है।

मालूम हो कि ब्रिटेन में पहले से ही अमेरिकी कंपनी फाइजर और जर्मनी के बायोएनटेक द्वारा विकसित वैक्सीन के साथ टीकाकरण किया जा रहा है।

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